पूणे

पुणे इंटरनेशनल स्कूल और जूनियर कॉलेज (एसएससी बोर्ड और सीबीएसई बोर्ड) ने क्रांतिसूर्य महात्मा ज्योतिबा फुले विश्वरत्न बोधिसत्व डॉक्टर बाबासाहेब अंबेडकर, स्कूल के अध्यक्ष और बहुजन समाज पार्टी के महाराष्ट्र प्रभारी डॉ. हलगेश चलवादी द्वारा। बाबासाहेब अम्बेडकर और महात्मा ज्योतिबा फुले के पुतलों पर माल्यार्पण

पुणे इंटरनेशनल स्कूल और जूनियर कॉलेज (एसएससी बोर्ड और सीबीएसई बोर्ड) ने क्रांतिसूर्य महात्मा ज्योतिबा फुले विश्वरत्न बोधिसत्व डॉक्टर बाबासाहेब अंबेडकर, स्कूल के अध्यक्ष और बहुजन समाज पार्टी के महाराष्ट्र प्रभारी डॉ. हलगेश चलवादी द्वारा। बाबासाहेब अम्बेडकर और महात्मा ज्योतिबा फुले के पुतलों पर माल्यार्पण

विद्यानगर पुणे में पुणे इंटरनेशनल स्कूल और जूनियर कॉलेज (एसएससी बोर्ड और सीबीएसई बोर्ड) ने क्रांतिसूर्य महात्मा ज्योतिबा फुले विश्वरत्न बोधिसत्व डॉक्टर बाबासाहेब अंबेडकर, स्कूल के अध्यक्ष और बहुजन समाज पार्टी के महाराष्ट्र प्रभारी डॉ. हलगेश चलवादी द्वारा। बाबासाहेब अम्बेडकर और महात्मा ज्योतिबा फुले के पुतलों पर माल्यार्पण किया गया। उपाध्यक्ष एडवोकेट रेणुका चलवादी और सायली शिंदे मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित थे।

 

 

प्राचार्या स्मिता लोंढे ने इस अवसर पर मार्गदर्शन करते हुए कार्यक्रम का संचालन किया तथा हुलगेश चलवादी ने बाबासाहेब अम्बेडकर एवं महात्मा फुले के प्रति आभार व्यक्त किया। अगर बाबासाहेब अम्बेडकर का जन्म नहीं होता तो मैं इतना बड़ा स्कूल कभी नहीं बना पाता।सारा श्रेय डॉ.बाबासाहेब अंबेडकर को जाता है।मेरे पिता स्वर्गीय मरियप्पा चलवादी खुद अनपढ़ थे, उनका हजारों बच्चों को शिक्षित करने का सपना था, इसलिए उन्होंने वर्ष 2000 में एक अंग्रेजी माध्यम स्कूल शुरू करने की दृष्टि से विश्वभारती विद्यालय शुरू किया, ताकि झुग्गी-झोपड़ियों के बच्चे सीख सकें। पुणे इंटरनेशनल स्कूल और जूनियर कॉलेज शुरू किया गया था। इस स्कूल में गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करके महापुरुषों के विचारों का प्रसार किया जाता है। साथ ही कला, संगीत, गायन, सामान्य ज्ञान और संविधान पर आधारित शिक्षा प्रदान करके गुणवत्तापूर्ण शिक्षा की पहचान बनाई गई है। कक्षा 10वीं और 12वीं का शत-प्रतिशत परिणाम प्राप्त कर क्षेत्र में सृजित किया गया। वहीं, विद्यानगर, विश्रांतवाड़ी नागपुरचाल, धनोरी, लोहगांव, येरवदा क्षेत्रों में अधिकांश नागरिक दादी और पूर्व सैनिक हैं। सीबीएसई बोर्ड ने भी 10वीं में 100% रिजल्ट की परंपरा को कायम रखा है और यहीं नहीं रुका, पुणे इंटरनेशनल स्कूल आईसीएससी बोर्ड स्कूल की शुरुआत मेरे पिता स्वर्गीय मरियप्पा चलवादी के पैतृक गांव कर्नाटक राज्य में 14 एकड़ में पुणे इंटरनेशनल स्कूल आयसीएससी बोर्ड के स्कूल की शुरुआत की।

 

एक बाघिन का दूध जो इसे पीती है और गुर्राती नहीं है। डॉ. बाबासाहेब अंबेडकर के विचार और उनका सपना कार्य रूप में साकार हुआ है, उन्होंने इस अवसर पर कहा कि भारत में महिलाओं को 1947 में संविधान के कारण सही मायने में आजादी मिली। कार्यक्रम का संचालन हौसराम आल्हाट ने किया।

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