सीतामढ़ी

चाइल्ड हेल्प लाइन (1098) के सुचारू संचालन हेतु सभी थानों के बाल कल्याण पुलिस पदाधिकारियों, एसएचओ, ओपी प्रभारी के साथ प्रशिक्षण एवं उन्मुखीकरण कार्यशाला का किया आयोजन 

चाइल्ड हेल्प लाइन (1098) के सुचारू संचालन हेतु सभी थानों के बाल कल्याण पुलिस पदाधिकारियों, एसएचओ, ओपी प्रभारी के साथ प्रशिक्षण एवं उन्मुखीकरण कार्यशाला का किया आयोजन 

विशाल समाचार टीम सीतामढी बिहार 

चाइल्ड हेल्प लाइन (1098) के सुचारू संचालन हेतु सभी थानों के बाल कल्याण पुलिस पदाधिकारियों, एसएचओ, ओपी प्रभारी के साथ प्रशिक्षण एवं उन्मुखीकरण कार्यशाला का आयोजन आज समाहरणालय के परिचर्चा भवन में किया गया। कार्यशाला का उद्घाटन पुलिस अधीक्षक के द्वारा किया गया। कार्यशाला में अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी, पुलिस उपाधीक्षक के साथ-साथ सभी थानों के थानाध्यक्ष, बाल कल्याण पुलिस पदाधिकारी, सभी ओपी प्रभारी एवं जिला बाल संरक्षण इकाई के वरीय उप समाहर्ता-सह-सहायक निदेशक सहित सभी पदाधिकारी एवं कर्मी उपस्थित थे।

कार्यशाला में पुलिस पदाधिकारियों का स्वागत पौधा देकर किया गया। कार्यशाला में चाइल्डलाइन के संचालन एवं क्रियाकलापों की जानकारी पी0पी0टी0 के माध्यम से दी गई जिसमें बताया गया कि महिला एवं बाल विकास मंत्रालय भारत सरकार द्वारा निर्गत मिशन वात्सल्य दिशा निर्देश के अनुसार हेल्पलाइन का संचालन जिले में जिला पदाधिकारी के नियंत्रण में जिला बाल संरक्षण इकाई के द्वारा किया जाना है। इस संबंध में मंत्रालय के द्वारा एसओपी निर्गत किया गया है। एसओपी के अनुसार जिला स्तर पर चाइल्ड हेल्पलाइन का नियंत्रण कक्ष स्थापित किया गया है। मिशन वात्सल्य मार्गदर्शिका में चाइल्ड हेल्पलाइन सेवाओं एवं महिला हेल्पलाइन (181)को इमरजेंसी रिस्पांस सपोर्ट सिस्टम (112) के साथ एकीकृत किया गया है। मुसीबत में फंसे बच्चे टोल फ्री नंबर 1098 पर कॉल कर सकते हैं। इसके लिए मंत्रालय स्तर पर नियंत्रण कक्ष स्थापित किया गया है सहायता के लिए नियंत्रण कक्ष में प्राप्त कॉल राज्य स्तर पर स्थापित नियंत्रण कक्ष के माध्यम से अथवा सीधे जिले स्तर पर स्थापित चाइल्ड हेल्पलाइन को कॉल किया जाएगा। उक्त संबंधी मामले चाइल्ड हेल्पलाइन को प्राप्त होने के उपरांत त्वरित कार्रवाई हेतु संबंधित क्षेत्र के थाना को सजग रहने की आवश्यकता है एवं ससमय उचित कार्रवाई अपेक्षित है। चाइल्ड हेल्प लाइन को कॉल की सूचना प्राप्त होते ही संबंधित थाना के बाल संरक्षण पुलिस पदाधिकारी, एसएचओ, ओपी प्रभारी को त्वरित कार्रवाई हेतु सूचित किया जाएगा। कृत कार्रवाई संबंधी प्रतिवेदन फॉलोअप रिपोर्ट तत्पश्चात चाइल्ड हेल्प लाइन के द्वारा मंत्रालय को उपलब्ध कराया जाएगा। मुसीबत में फंसे बच्चे को तत्काल सहायता उपलब्ध कराने हेतु बाल कल्याण समिति में आवश्यकतानुसार उस्थापित कराया जाएगा। उक्त बातें एक दिवसीय प्रशिक्षण-सह- उन्मुखीकरण कार्यशाला में वरीय उप समाहर्ता-सह- सहायक निदेशक बाल संरक्षण इकाई द्वारा बताया गया।

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