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वायरल एवं संक्रामक रोगों पर’माधव रसायन’ उपयुक्त क्लीनिकल ट्रायल में सिद्ध हुई उपयोगिता; कोल्हापुर स्थित श्री विश्ववती आयुर्वेदिक क्लिनिक और रिसर्च सेंटर का अनुसंधान

Devendra Tomar Reporter Pune

पुणे: कोविड-19, ओमाइक्रोन जैसे वायरल और संक्रामक रोगों से सामाजिक स्वास्थ्य खतरे में है. इस सामाजिक स्वास्थ्य को बनाए रखने में ‘माधव रसायन’ यह दवा कारगर और उपयोगी साबित हुई है। ‘माधव रसायन’ को श्री विश्ववती आयुर्वेदिक क्लिनिक और अनुसंधान केंद्र कोल्हापुर के शोधकर्ताओं की एक टीम ने विश्वपंढरी अध्यक्ष आनंदनाथ जी सांगवडेकर की अवधारणा के तहत और विश्ववती अध्यक्ष निरंजन दास जी सांगवडेकर के मार्गदर्शन में विकसित किया है। इस दवा की उपयोगिता कोविड-19 के क्लीनिकल ट्रायल वैज्ञानिक स्तर पर साबित हो चुकी है, ऐसी जानकारी एम्प्रेस हेल्थ केयर की को-फाउंडर और डायरेक्टर डॉ. गायत्री गाणु ने प्रेस वार्ता में दी।

डॉ. गायत्री गाणु ने कहा, “माधव रसायन आयुर्वेदिक दवा विकसित की गई है जो वायरल बीमारियों जैसे बुखार, ठंड लगना, खांसी, शरीर में दर्द, कम ऑक्सीजन स्तर जैसे विभिन्न लक्षणों में बहुत उपयोगी है। पुणे के लोकमान्य अस्पताल में डॉ. समीर जमदग्नि, डॉ. प्रसाद पांडकर, डॉ. तुषार सौंदनकर, डॉ. गिरीश शिर्के, डॉ. शैलेश मालेकर और डॉ. विद्याधर वैद्य की टीम के तहत किए गए क्लिनिकल ट्रायल में माधव रसायन नामक आयुर्वेदिक दवा का इस्तेमाल कोविड-19 पॉजिटिव मरीजों पर किया गया। लगातार दस दिनों तक माधव रसायन की अलग-अलग खुराक लेने वाले मरीजों में बुखार, ठंड लगना, शरीर में दर्द और अन्य लक्षण आकर पांचवें दिन कोविड-19 का टेस्ट नेगेटिव आया और दसवें दिन तक सभी लक्षण गायब हो गए, साथ ही इन मरीजों में आईसीयू, कृत्रिम ऑक्सीजन की आपूर्ति, लंबे समय तक दवा की जरूरत नहीं लगी।”

“इन सभी प्रक्रियाओं में, शरीर के वायटल और सोफ्ट ऑर्गन्स जैसे हृदय, फेफड़े, मस्तिष्क, गुर्दे आदि पर कोविड -19 के प्रभाव के साथ-साथ भूलने की बीमारी, अनिद्रा आदि के लक्षण गायब होते देखे गए। आयुर्वेद में उदक और उपद्रव शब्दों के तहत इन सभी का सुंदर वर्णन किया गया है; रोग से जुड़ी अन्य बीमारियों का उभरना मूल रोग का ‘उपद्रव’ है और रोग के ठीक होने के बाद किसी अन्य लक्षणात्मक पहलू का उभरना ‘उदक’ कहलाता है। कोविड -19 की शुरुआत के बाद स्ट्रोक, दिल का दौरा, चेहरे का पक्षाघात, बालों का झड़ना, अनिद्रा, तनाव, भूलने की बीमारी, आत्मविश्वास की कमी जैसे लक्षण देखे जा सकते हैं। इससे पता चलता है कि सामाजिक स्वास्थ्य का स्तर दिन-ब-दिन गिरता जा रहा है और इसलिए ‘माधव रसायन’ एक बहुत ही उपयोगी औषधि साबित हुई है।

वर्तमान में कोविड-19, ओमाइक्रोन के विभिन्न लक्षणों के अनुसार ‘माधव रसायन’ औषधि का प्रयोग डॉक्टर या चिकित्सक की सलाह के अनुसार भिन्न-भिन्न मात्रा में किया जा रहा है और इस औषधि का दीर्घकालीन प्रभाव अनुभव किया जा रहा है। जो मरीज कोविड-19 से ठीक हो चुके हैं या जिन्हें कोविड-19 हैं उनके स्वास्थ्य में सुधार लाने और सामाजिक स्वास्थ्य को नए सिरे से स्थापित करने के लिए माधव रसायन लेने की अपील श्री विश्ववती आयुर्वेदिक क्लिनिक एवं अनुसंधान केंद्र कोल्हापुर की ओर से डॉ. गिरीश शिर्के, डॉ. तुषार सौंदनकर, डॉ. राहुल शेलार और डॉ. अभय जमदग्नि ने की हैं.

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