पूणे

इंडियास्किल्स 2024 में पुरुष-प्रधान ट्रेडों में 170 से अधिक महिलाएं भाग ले रही हैं  

इंडियास्किल्स 2024 में पुरुष-प्रधान ट्रेडों में 170 से अधिक महिलाएं भाग ले रही हैं

 

पुणे : नई दिल्ली के द्वारका स्थित यशोभूमि में 15 से 19 मई 2024 तक चलने वाली इंडिया स्किल्स प्रतियोगिता 2024 में उन ट्रेडों में महिलाओं की भागीदारी में वृद्धि देखी गई है, जिन पर पहले पुरुषों का वर्चस्व था। महिला प्रतिभागी अपने पुरुष समकक्षों के साथ सीधे मुकाबला कर रही हैं। वे बहुत जोश और उत्साह दिखा रही हैं। वे साबित कर रही हैं कि कौशल और प्रतिभा, जेन्डर से बाधित नहीं होती है। यह महिलाओं को सशक्त बनाने और उन्हें रोजगार के अवसर प्रदान करने के केंद्र के विज़न के अनुरूप है।

इस साल, इंडिया स्किल्स में 30 से ज़्यादा राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों से 61 कौशल और 400 से ज़्यादा उद्योग विशेषज्ञों के 900 से ज़्यादा उम्मीदवार हिस्सा ले रहे हैं। लॉजिस्टिक्स और फ्रेट फ़ॉरवर्डिंग, वेब टेक्नोलॉजी, विज़ुअल मर्चेंडाइजिंग, फ़ैशन टेक्नोलॉजी, ग्राफ़िक डिज़ाइन टेक्नोलॉजी, पेंटिंग और डेकोरेटिंग, इलेक्ट्रिकल इंस्टॉलेशन, इंडस्ट्रियल डिज़ाइन टेक्नोलॉजी और रिन्यूएबल एनर्जी जैसे ट्रेड में 170 से ज़्यादा महिलाएँ हिस्सा ले रही हैं। यह प्रतियोगिता समान अवसर प्रदान करने के लिए एक मंच भी प्रदान कर रही है। पिछले वर्षों में, प्लंबिंग एंड हीटिंग कौशल में एक महिला उम्मीदवार ने भाग लिया था। लैंडस्केप गार्डनिंग कौशल में दो महिला टीमें थीं। विजुअल मर्चेंडाइजिंग में भी महिलाओं का वर्चस्व था। मोबाइल रोबोटिक्स में भी दो लड़कियों की टीम ने भाग लिया था।

इंडियास्किल्स 2024 के जूरी मेम्बर और इंडियास्किल्स 2022 के विजेता सोनू लाठेर ने कहा, “इंडियास्किल्स 2024 में महिलाओं की भागीदारी में उल्लेखनीय वृद्धि देखी गई है, जिससे उनकी अपार प्रतिभा और लचीलेपन का पता चलता है। यह बढ़ता प्रतिनिधित्व न केवल उनके कौशल का प्रमाण है, बल्कि हमारे देश के लिए अधिक समावेशी और उचित भविष्य की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम भी है।”

ओडिशा से इंडियास्किल 2024 में भाग लेने वाली कीर्तिपर्णा सदांगी ने कहा कि उन्हें पिछले साल की प्रतियोगी रिंकी महातो से प्रेरणा मिली। उन्होंने कहा, “अगर मुझे फ्रांस जाने का मौका मिलता है, तो मैं वैश्विक मंच पर हमारे तिरंगे को गौरवान्वित करने के लिए दृढ़ संकल्पित हूं।”

ऑटोनॉमस मोबाइल रोबोटिक्स, ऑटोमोबाइल रिपेयरिंग, क्लाउड कंप्यूटिंग और मेक्ट्रोनिक्स जैसे नए जमाने के कौशल भी इंडिया स्किल्स 2024 के इस संस्करण में काफी लोकप्रियता हासिल कर रहे हैं। उम्मीदवार इन उभरते हुए ट्रेडों में बहुत जोश और दृढ़ संकल्प के साथ भाग ले रहे हैं। नए जमाने के कौशल इनोवेशन को बढ़ावा देकर, प्रोडक्टिविटी बढ़ाकर और नौकरी के अवसरों का विस्तार करके देश की अर्थव्यवस्था को मजबूत करने के लिए महत्वपूर्ण होते जा रहे हैं।

“ऑटोनॉमस मोबाइल रोबोटिक्स की जूरी महाराष्ट्र के अक्षत मराठी ने कहा, “इंडिया स्किल्स 2024 हमारे भविष्य को आकार देने में नए युग के कौशल की महत्वपूर्ण भूमिका पर प्रकाश डालता है, जिसमें प्रतिभागी अत्याधुनिक तकनीकों में विशेषज्ञता का प्रदर्शन कर रहे हैं। ये कौशल इनोवेशन को बढ़ावा दे रहे हैं, प्रोडक्टिविटी बढ़ा रहे हैं और भारत को डिजिटल इकोनॉमी में ग्लोबल लीडर के रूप में स्थापित कर रहे हैं।” ये कौशल एक वाइब्रेन्ट स्टार्ट-अप ईकोसिस्टम को बढ़ावा दे रहे हैं, नए रोल बना रहे हैं और एफडीआई को आकर्षित कर रहे हैं। ये सभी आर्थिक विकास में योगदान करते हैं। इसके अतिरिक्त, डिजिटल और तकनीकी कौशल में दक्षता देश की निर्यात क्षमताओं को बढ़ाती है, ग्रीन टेक्नोलॉजी के माध्यम से सतत विकास में सहयोग देती है, और स्मार्ट इन्फ्रास्ट्रक्चर के माध्यम से समग्र जीवन स्तर में सुधार करती है।

इंडियास्किल्स के विजेता, सर्वश्रेष्ठ उद्योग प्रशिक्षकों की मदद से, सितंबर 2024 में फ्रांस के ल्योन में होने वाली वर्ल्डस्किल्स प्रतियोगिता के लिए तैयारी करेंगे। इसमें 70 से अधिक देशों के 1,500 प्रतियोगी एक साथ आएँगे। इस वर्ष, शुरुआती रुझानों से यह अनुमान लगाया गया है कि भारत वर्ल्डस्किल्स में ऑटोमोबाइल, हॉस्पिटैलिटी, मेक्ट्रोनिक्स और वॉटर टेक्नोलॉजी में पदक जीतेगा।

प्रशिक्षकों के साथ-साथ, प्रतियोगियों को पिछले वर्ल्डस्किल्स के विजेताओं द्वारा मार्गदर्शन दिया जा रहा है। इससे न केवल उन्हें ट्रेड की बारीकियों को समझने में मदद मिल रही है, बल्कि उन्हें अतिरिक्त बढ़त हासिल करने में भी मदद मिल रही है। एमएसडीई के तत्वावधान में काम कर रहे राष्ट्रीय कौशल विकास निगम (एनएसडीसी) इस कार्यक्रम को क्रियान्वित कर रहा है और यह 19 मई को एक भव्य समापन समारोह के साथ समाप्त होगा

 

 

इस वर्ष प्रतिभागियों को राष्ट्रीय क्रेडिट फ्रेमवर्क के अंतर्गत क्रेडिट अर्जित करने का अवसर मिलेगा। वर्ल्डस्किल्स और इंडियास्किल्स दोनों प्रतियोगिताओं में प्रदर्शित सभी कौशलों को राष्ट्रीय कौशल योग्यता फ्रेमवर्क (एनएसक्यूएफ) के साथ जोड़ा गया है। यह प्रतिभागियों को अपने सीखने के परिणामों को श्रेय देने और अपने चुने हुए क्षेत्रों में एक समृद्ध करियर बनाने के लिए सशक्त बनाता है। यह भी पहली बार है कि इंडियास्किल्स ने क्यूरेन्सिया नामक एक प्रतिस्पर्धा सूचना प्रणाली को शामिल किया है।

स्किल इंडिया डिजिटल हब (सिद्ध) पोर्टल पर प्रतिस्पर्धा के लिए लगभग 2.5 लाख उम्मीदवारों ने पंजीकरण कराया था, जिनमें से 26,000 को प्री-स्क्रीनिंग की प्रक्रिया के जरिए चुना गया था। ये आंकड़ा राज्य और जिला-स्तरीय प्रतियोगिता आयोजित करने के लिए राज्यों के साथ साझा किया गया था, जिसमें से 900 से अधिक छात्रों को इंडिया स्किल्स नेशनल प्रतिस्पर्धा के लिए शॉर्टलिस्ट किया गया था।

इस वर्ष, इंडियास्किल्स को टोयोटा किर्लोस्कर, ऑटोडेस्क, जेके सीमेंट, मारुति सुजुकी, लिंकन इलेक्ट्रिक, नैमटेक, वेगा, लोरियल, श्नाइडर इलेक्ट्रिक, फेस्टो इंडिया, आर्टेमिस, मेदांता और सिग्निया हेल्थकेयर जैसे 400 से अधिक उद्योग और शैक्षणिक भागीदारों का सहयोग मिल रहा है।

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