पुणे में हास्य योग का प्रशिक्षण केंद्र स्थापित किया जाए
डॉ. मदन कटारिया की राय; नवचैतन्य हास्य योग परिवार की ओर से महाराष्ट्र हास्य योग परिषद
पुणे :हास्य योग सुखी और स्वस्थ जीवन की कुंजी है। हास्य योग वरिष्ठों तक सीमित नहीं होना चाहिए, बल्की हर उम्र के लोगों तक पहुंचना चाहिए। हास्य योग के मुव्हमेंट को फैलाने के लिए बड़ी संख्या में हास्य योग प्रशिक्षकों को प्रशिक्षित किया जाना चाहिए और इसके लिए पुणे में हास्य योग प्रशिक्षण केंद्र स्थापित होना चाहिए,यह राय अंतर्राष्ट्रीय हास्यकार डॉ. मदन कटारिया ने व्यक्त की।
नवचैतन्य हास्य योग परिवार के रजत जयंती वर्ष के अवसर पर आयोजित महाराष्ट्र हास्य योग परिषद का शुभारंभ डॉ. मदन कटारिया और माधुरी कटारिया के हाथों हुआ। स्वारगेट स्थित गणेश कला क्रीड़ामंच में आयोजित इस परिषद में प्रसिद्ध बिल्डर कृष्ण कुमार गोयल, साहित्यकार प्रो. मिलिंद जोशी, उद्यमी प्रकाश धोका, तुषार केळकर, प्रसन्न पाटिल, ‘नवचैतन्य’ के संस्थापक अध्यक्ष विठ्ठल काटे, सुमन काटे, मुख्य समन्वयक मकरंद टिल्लू, सचिव पोपटलाल शिंगवी आदि मौजूद थे.
डॉ. मदन कटारिया ने कहा, “हास्य योग हमारे स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद है, यह साबित करने के लिए देश भर में 450 से अधिक शोध पत्र प्रस्तुत किए गए हैं। हास्य योग को और अधिक प्रचारित और प्रसारित करने की आवश्यकता है। स्कूल, कॉलेज, कार्यस्थल, समाज, पुलिस, डॉक्टर, जेल, हर जगह हास्य योग केंद्र बनेंगे तो समाज में खुशहाली फैलेगी। इसके लिए हास्य योग शिक्षकों के प्रशिक्षण की जरूरत है। ऐसे प्रशिक्षक तैयार करने के लिए प्रशिक्षण केंद्रों की स्थापना करना एक महत्वपूर्ण कदम होगा। हास्य को योग से जोड़कर योग शिक्षकों को हास्य योग को अपनाने के लिए कहा जाना चाहिए। बचपन से ही हँसी पर ध्यान देना चाहिए। हंसी को योग से जोडऩे और हास्य योग आंदोलन को सरकारी स्तर पर लागू करने के लिए सरकार प्रयासरत है और इस संबंध में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखा है।”
प्रो. मिलिंद जोशी ने कहा, “भारत योग की भूमि है। हास्य योग सरल और आसान है। हंसी जीवन का संगीत है और जीवन को सुचारू बनाने के लिए हंसी जरूरी है। मनुष्य को हंसी और हास्य की भावना का आशीर्वाद मिला है। मुस्कुराने की कला केवल मनुष्य के पास है। लेकिन चिंताजनक बात यह है कि लोग मुस्कुराने के बजाय हमेशा गंभीर रहते हैं। अगर खुलकर हंसे तो हैसियत को चोट लग जाएगी, इसका डर हैं। हंसी सुंदरता का स्रोत है। हंसी में दुनिया के सभी दुखों को दूर करने की ताकत है। हास्य क्लब भावनात्मक और मनोवैज्ञानिक सहायता प्रदान करने का काम करता हैं।”
कृष्णकुमार गोयल ने कहा, “हास्य योग क्लब बुढ़ापे में अपनों को अनमोल रखने का काम कर रहा हैं। हास्य योग आंदोलन को व्यापक रूप देने और लाखों लोगों के जीवन में हंसी-खुशी फैलाने वाले सुमन और विठ्ठल काटे की जोडी को महाराष्ट्र भूषण पुरस्कार मिलना चाहिए. अगर समाज में हास्य क्लब होंगे तो सामाजिक बंधन अधिक मजबूत होंगे।”
सुमन काटे ने अनुरोध किया कि हर बिल्डर अपने होम प्रोजेक्ट में हास्य योग की सुविधा उपलब्ध कराए। इसका पल भर में जवाब देते हुए गोयल ने बिल्डर्स एसोसिएशन की बैठक में अपने प्रोजेक्ट में इस सुविधा का प्रस्ताव देने का वादा किया.