ड्राइवर की फिटनेस, नशा और स्पीड लिमिट पर ध्यान जरूरी : संजीव भोर
प्राइवेट बस ओनर्स एसोसिएशन द्वारा आयोजित सेमिनार में आरटीओ ने बताया हाईवे पर बढ़ते एक्सीडेंट को रोकने तीन सूत्री कार्यक्रम आवश्यक
पुणे : समृद्धि हाईवे पर कुछ दिनों पहले हुई दुर्घटना के कारण देशभर में निजी यात्री परिवहन सेवाओं का मुद्दा सामने आ गया है. ऐसी दुर्भाग्यपूर्ण दुर्घटनाओं से बजे के लिए त्रिसूत्री का कड़ाई से कार्यान्वयन आवश्यक है. निजी बस मालिकों ने 3 सिद्धांत गति सीमा, नशा मुक्त व फिट बालक, नियमों का कड़ाई से पालन त किया है. इस संबंध में आयोजित विशेष सेमिनार में निजी बस मालिकों द्वारा देखभाल और उपचारात्मक योजनाओं का १० सूत्री कार्यक्रम लागू करने का निर्णय लिया गया बैठक में यह भी निर्णय लिया गया कि यात्रियों को सुरक्षित यात्रा सुनिश्चित करने के साथ-साथ विश्वसनीयता बढ़ाने के लिए भी प्रयास करेंगे. इस सेमिनार में राज्य भर से २०० से अधिक बस मालिकों ने भाग लिया.
समृद्धि हाईवे पर दुर्घटना के मद्देनजर दुर्घटना रोकने के लिए आरटीओ द्वारा की जाने वाली कार्रवाई पर सेमिनार में चर्चा की गई. पुणे बस एंड कार ओनर्स एसोसिएशन, बस और कार मालिक परिसंघ ऑफ इंडिया ओसीआई) और निजी बस मालिकों के संगठन पुणे डिस्ट्रिक्ट बस एसोसिएशन की ओर से सेमिनार का आयोजन किया गया था मित्र मंडल सभागार में आयोजित झा सेमिनार में उप क्षेत्रीय परिवहन पदाधिकारी संजीव भोर, उद्यमी और बीओसीआई के अध्यक्ष प्रसन्न पटवर्धन, पुणे बस एंड कार ओनर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष राजन जुनवणे, किरण देसाई, पुणे जिला लक्जरी बस एसोसिएशन के अध्यक्ष बालासाहेब खेडेकर, प्रकाश गवली. बाळासाहेब बोराटे और अन्य उपस्थित थे.
प्रसन्ना पटवर्धन ने कहा, हमारा क्षेत्र देश में यात्री परिवहन सेवाओं का सबसे बड़ा प्रदाता है, लेकिन कुछ अनावश्यक बातों के कारण यात्रियों का हम पर भरोसा कम हो रहा है अगर हम इस विश्वसनीयता को बनाए रखना चाहते हैं, अगर हम अपनी छवि सुधारना चाहते है तो हमें अच्छी और अनुपालन वाली सेवाएं प्रदान करनी होगी.
संजीव भोर ने कहा, बस मालिकों की थोड़ी सी लापरवाही ऐसा गंभीर दुर्घटनाओं का कारण बनती है. इसलिए ड्राइवर को स्वास्थ्य जांच के साथ-साथ उचित प्रशिक्षण भी दिया जाना चाहिए. यदि शराब पीकर वाहन चलाते हुए पाया गया तो वाहन को तब तक नहीं छोड़ा जाएगा जब तक दूसरा ड्राइवर उपलब्ध न हो. इस संबंध में क्षेत्रीय परिवहन विभाग की ओर से दिशा-निर्देश जारी कर दिए गए है.
राजन जुनवणे ने कहा, इों की गलतियों के कारण मालिकों को काफी परेशानी और परेशानी उठानी पड़ती है, अवेध आचरण करने वाले बस मालिकों को नुकसान होगा, किरण देसाई ने सुझाव दिया कि बस ड्राइवरों की पूरी जानकारी उनकी रेटिंग के साथ एक पोर्टल या एप्लिकेशन पर लाई जानी चाहिए, उन्होंने इस संबंध में पहल कर जल्द ही यह सुविधा उपलब्ध कराने का वादा भी किया. बालासाहेब खेडेकर, बोराटे, भक्ती ने भी अपनी भावनाएं व्यक्त की कई बस मालिकों ने अपनी शंकाएं और सुझाव रखे, संजीव भोर और प्रसन्न पटवर्धन शंकाओं का समाधान किया.