शिवराज सिंह राजपूत प्रतिनिधि इटावा-
वर्षा ऋतु में जल का संरक्षण किये जाने, गंगा की सहायक नदियों के किनारे बसे ग्रामों में साफ-सफाई की समुचित व्यवस्था किये जाने के निर्देश-
इटावा यूपी: प्राकृतिक/जैविक खेती को बढ़ावा देने के लिए समस्त ग्रामों में एक-एक प्रोजेक्ट बनाये जाने, जैव विविधता का संरक्षण, बनारोपण, नदी घाट आधारित पर्यटन को बढ़ावा दिये जाने, वर्षा ऋतु में जल का संरक्षण किये जाने, गंगा की सहायक नदियेां के किनारे बसे ग्रामों में साफ-सफाई की समुचित व्यवस्था किये जाने के निर्देश दिये।
उक्त निर्देश जिलाधिकारी श्रुति सिंह ने कलेक्ट्रेट सभागार मे आयोजित नमामि गंगे के अन्तर्गत कार्यो की समीक्षा बैठक मे दिये। उन्होने नमामि गंगे के कार्यों की समीक्षा करते हुए कहा कि गंगा की सहायक नदियों के किनारे बसे ग्रामों में व्यापक साफ सफाई की व्यवस्था की जाये, नदियेां में जल संरक्षण , जल जीवों के संवर्द्धन ,गांवो के विकास हेतु कार्य योजना बनाकर उपलब्ध करायी जाये। जनपद की सीमा अन्तर्गत बहने वाली नदियों में तरल और ठोस अपशिष्ट लाने वाले नालों की पहचान की जाये। अर्थ गंगा के अन्तर्गत नदियों के किनारे बसे गांव के किसानो जोड़कर कर वहां पर मेला लगाये जाने हेतु कार्य योजना बनाकर उपलब्ध करायी जाये।
जिलाधिकारी ने कहा कि प्राकृतिक/जैविक खेती को बढ़ावा को देने के लिए सभी ग्रामों में एक एक प्रोजेक्ट लगवायें जायें, जैव विविधता के संरक्षण हेतु नदियों के किनारे वृक्षारोपण कराये जाने हेतु कार्य योजना बनायी जाये साथ ही नालों से निकल कर नदियों में जाने वाले पानी का शोधन करने के उपरान्त ही पानी को जमुना में डाला जाये साथ ही नदियों के घाटों का रख रखाव किये जाने हेतु योजना बनाई जाये। नदियों के घाटों की साफ-सफाई हेतु स्वच्छता पखवाडे़ का आयोजन किया जाये। कैच द रैन अभियान के अन्तर्गत मानसून अवधि के दौरान होने वाली बरसात के पानी का सरंक्षण किया जाये।
इस अवसर पर मुख्य विकास अधिकारी संतोष कुमार राय,प्रभागीय निदेशक सामाजिक वानिकी अतुल कान्त शुक्ला,डा० राजीव चैहान सहित अन्य संबंधित अधिकारी उपस्थित रहे.