विधायक नितेश राणे को अपने अनुचित व्यवहार के लिए मुस्लिम समुदाय से माफी मांगनी चाहिए-परशुराम वाडेकर की मांग
परशुराम वाडेकर ने विधायक राणे के व्यवहार की कड़े शब्दों में निंदा की
रिपोर्ट डीएस तोमर पुणे
पुणे: विधायक नितेश राणे लगातार बेतुके बयान दे रहे हैं कि सामाजिक संतुलन बिगड़ जाएगा. मस्जिद में जाकर मुसलमानों को चूं चूं के मारेंगे, पुलिस मेरा कुछ नहीं कर सकती जैसे बयान मुस्लिम समुदाय में डर पैदा कर रहे हैं, संवैधानिक रूप से चुने गए विधायक के मुंह से ऐसी हिंसक भाषा शोभा नहीं देती, हम राणे ने कहा कि उनकी इस अभिव्यक्ति की कड़ी निंदा करते हुए रिपब्लिकन पार्टी ऑफ इंडिया (आठवाले) के राज्य आयोजक परशुराम वाडेकर ने एक प्रेस विज्ञप्ति के माध्यम से इस तरह के भड़काऊ बयान नहीं देने और मुस्लिम समुदाय से माफी मांगने की मांग की है.
वाडेकर ने अपने पेपर में आगे कहा कि महाराष्ट्र शाहू, फुले, अंबेडकर के विचारों का प्रगतिशील राज्य है. हाल ही में राज्य के कुछ नेता जानबूझकर ऐसे बयान दे रहे हैं जिससे हिंदू-मुस्लिम समुदाय में दरार पैदा हो. तथ्य यह है कि ये बयान आगामी विधानसभा चुनावों से पहले दिए जा रहे हैं, इसका परिणाम महायुति में हमारे जैसे सहयोगी दलों पर पड़ सकता है। लोकसभा चुनाव के दौरान भी कुछ नेताओं के बेतुके बयानों के कारण संवैधानिक बदलाव की चर्चा शुरू हुई तो इसका असर महाराष्ट्र में महागठबंधन के वोटों पर पड़ता दिख रहा है. रिपब्लिकन पार्टी भारतीय संविधान का सम्मान करती है और धर्मनिरपेक्षता को प्राथमिकता देती है। सामाजिक समरसता बनाए रखना सदैव हमारी प्राथमिकता रही है। अगर किसी नेता के भड़काऊ भाषण से समाज का कोई वर्ग खुद को असुरक्षित महसूस करता है तो हम उस समाज की रक्षा के लिए हमेशा आगे आएंगे। वाडेकर ने यह भी कहा कि अगर राणे मस्जिद में घुसने की कोशिश करेंगे तो हम मुस्लिम समुदाय की रक्षा के लिए आगे आएंगे।
विधानसभा चुनाव के मद्देनजर राज्य के उपमुख्यमंत्री एवं गृह मंत्री देवेन्द्र फड़णवीस को विधायक नितेश राणे को सख्त चेतावनी देनी चाहिए कि वे कोई भी भड़काऊ बयान न दें जिससे हिंदू-मुसलमानों के बीच दरार पैदा हो और अन्य नेताओं एवं संतों को भी समझाना चाहिए कि वे बेतुके, हिंसक भड़काऊ बयान न दें. ऐसा ही किया है परशुराम वाडेकर ने.