
समाहरणालय सीतामढ़ी
पीसी एंड पीएनडीटी एक्ट में निहित प्रावधान के अनुसार लिंग परीक्षण एक कानूनी अपराध है जिसके अंतर्गत वैसे सभी अल्ट्रासाउंड सेंटर जहां इस प्रकार का कार्य की सूचना प्राप्त होती है अविलंब कठोर कार्रवाई करना सुनिश्चित करें:- जिलाधिकारी
सीतामढ़ी विशाल समाचार संवाददाता
कन्या भ्रूण हत्या एक अपराध और एक बड़ी सामाजिक आपदा है इस पर प्रभावी नियंत्रण के मद्देनजर कड़ी कानूनी कार्रवाई के साथ लोगों को जागरूक करने की दिशा में प्रभावी कार्य करें:…जिलाधिकारी
उक्त बात जिलाधिकारी सीतामढ़ी श्री रिची पांडेय ने पीसी एंड पीएनडीटी एक्ट (गर्भधारण पूर्व एवं प्रसव पूर्व निदान तकनीक)से संबंधित जिला स्तरीय समिति की बैठक में कहीं। उन्होंने स्वास्थ्य विभाग एवं सभी अनुमंडल पदाधिकारियों को निर्देशित किया है कि जिले में संचालित सभी अल्ट्रासाउंड सेंटर की जांच करना सुनिश्चित करें। लगातार छापामारी करें। अवैध पाए गए अल्ट्रासाउंड/ डायग्नोसिस सेंटर के विरुद्ध सख्त कार्रवाई करते हुए न केवल उसे सील करें बल्कि उनके विरुद्ध प्राथमिक भी दर्ज करना सुनिश्चित करें।
कहा कि जो निबंधित अल्ट्रासाउंड सेंटर है उनकी जांच निर्धारित चेक लिस्ट के अनुसार करना सुनिश्चित किया जाए। उन्होंने निर्देश दिया कि निबंधित अल्ट्रासाउंड केंद्रों का रजिस्ट्रेशन, अल्ट्रासाउंड करने वाले रोगियों का नाम, पता एवं मोबाइल नंबर की सूची, कार्यरत टेक्निशियन, वेल ट्रेंड टेक्निशियन, मशीन का लाइसेंस तथा अन्य निर्धारित मानकों की जांच करना सुनिश्चित करें। पीसी &पीएनडीटी एक्ट के तहत निर्धारित मानकों का अनुपालन नहीं करने वाले अल्ट्रासाउंड/ डायग्नोसिस सेंटर पर अविलंब कार्रवाई करें। उन्होंने सभी एसडीओ को साप्ताहिक जांच प्रतिवेदन उपलब्ध कराने का निर्देश दिया। साथ ही एक्शन टेकन रिपोर्ट भी उपलब्ध कराने का निर्देश दिया गया। उन्होंने स्पष्ट कहा कि पीसी & पीएनडीटी एक्ट में निहित प्रावधान के अनुसार लिंग परीक्षण एक कानूनी अपराध है जिसके अंतर्गत वैसे सभी अल्ट्रासाउंड सेंटर जहां इस प्रकार का कार्य होता है उक्त केंद्र पर कानूनी कार्रवाई करते हुए उसे सील करना सुनिश्चित करें। इसके पूर्व स्वास्थ्य विभाग द्वारा जानकारी दी गई कि जिले में ऐसे 68 निबंधित केंद्र हैं जिसमें से 61 संचालित हैं। जिलाधिकारी ने सभी सेंटरों के विरुद्ध जांच करने का निर्देश दिया।
जिलाधिकारी ने कहा की जिले में लिंगानुपात की स्थिति में अपेक्षित सुधार लाने की दिशा में उक्त कदम उठाना अनिवार्य है। इसके लिए लिंग परीक्षण पर रोक लगाने हेतु लगातार छापामारी के निर्देश दिए गए हैं। उन्होंने कहा कि कन्या भ्रूण हत्या एक कानूनी अपराध होने के साथ-साथ सामाजिक अपराध भी है क्योंकि कन्या भ्रूण हत्या इसी तरह जारी रही तो हम एक दिन अपना परिवार समाज और यहां तक की अपनी नस्ल को भी खो देंगे। लैंगिक असमानता का सबसे बड़ा कारण कन्या भ्रूण हत्या है। जिस दिन हम अपनी बेटियों को बेटों के बराबर समझने लगेंगे उसी दिन कन्या भ्रूण हत्या अपने आप रुक जाएगी।
उन्होंने सिविल सर्जन को निर्देशित किया कि पुपरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में जो अतिरिक्त अल्ट्रासाउंड मशीनें है उसे सदर अस्पताल में शिफ्ट किया जाए सदर अस्पताल में अल्ट्रासाउंड सेवा की उपलब्धता में वृद्धि की जाए।
बैठक में उपस्थित वरिष्ठ सामाजिक कार्यकर्ता नागेंद्र प्रसाद सिंह – सह–सदस्य पीसी & पीएनडीटी समिति ने कहा कि लिंगानुपात में कमी वाले क्षेत्रों में विशेष जागरूकता अभियान चलाया जाना अपेक्षित होगा तथा विभिन्न सामाजिक संगठनों से सहयोग हेतु समन्वय स्थापित करते हुए लोगों को के बीच व्यापक प्रचार प्रसार के माध्यम से समाज में जागरूकता लाई जा सकती है। उन्होंने कहा कि सभी अल्ट्रासाउंड संस्थानों को लेकर एक उन्मुखीकरण कार्यक्रम कराया जा सकता है।
बैठक में सिविल सर्जन डॉ अखिलेश कुमार , जिला जन संपर्क पदाधिकारी कमल सिंह , डीपीएम स्वास्थ्य आसित रंजन, उपाधीक्षक सदर अस्पताल डॉ सुधा झा सहित समिति के अन्य सदस्य उपस्थित थे।